4/18/2023 विश्व पुरातत्व (लिगेसी /धरोहर) दिवस 18 अप्रैल | World Archeology (Legacy / Heritage) DayRead Nowविश्व विरासत दिवस या विश्व विरासत दिवस हर साल 18 अप्रैल को पूरी दुनिया में मनाया जाता है। इस दिन को "स्मारक और स्थलों के लिए अंतर्राष्ट्रीय दिवस" के रूप में भी जाना जाता है।
?विश्व पुरातत्व ( विरासत /धरोहर ) दिवस?
♦️ 18 अप्रैल ♦️ दुनियाभर में 18 अप्रैल को विश्व धरोहर दिवस मनाया जा रहा है। दुनिया में कई अद्भुत निर्माण विरासत हैं जो वक्त के साथ जर्जर होती जा रही हैं। इनके स्वर्णिम इतिहास और निर्माण को बचाने के लिए विश्व विरासत दिवस या विश्व धरोहर दिवस मनाया जाता है। वैसे तो कई सारी विश्व धरोहरें हैं, जो दुनियाभर में प्रसिद्द हैं लेकिन अगर हम भारतीय विश्व धरोहरों की बात करें तो यूनेस्को ने भारत में कुल 40 विश्व धरोहरें घोषित की है। इनमें सात प्राकृतिक, 32 सांस्कृतिक और एक मिश्रित स्थल हैं। भारत में सबसे पहली बार एलोरा की गुफाओं (महाराष्ट्र) को विश्व विरासत स्थल घोषित किया था। वहीं अगर 39वीं और 40वीं विश्व विरासत की बात करें तो कालेश्वर मंदिर तेलंगाना में स्थित है। वहीं 40वां विश्व धरोहर हड़प्पा सभ्यता का शहर धोलावीरा है। वहीं यूनेस्को द्वारा घोषित सबसे ज्यादा विश्व विरासत महाराष्ट्र में है। महाराष्ट्र में पांच यूनेस्को विश्व विरासत स्थल हैं। विश्व विरासत दिवस 2023: इतिहास मानव विरासत को संरक्षित करने और संबंधित संगठनों के सभी प्रयासों को मान्यता देने के लिए हर साल 18 अप्रैल को विश्व विरासत दिवस मनाया जाता है। स्मारकों और स्थानों पर अंतर्राष्ट्रीय परिषद (ICOMOS) 1982 को 18 अप्रैल को विश्व खड़िया दिवस घोषित किया गया। इसे 1983 में यूनेस्को महासभा द्वारा सांस्कृतिक विरासत और स्मारकों के महत्व के बारे में जागरूकता बढ़ाने और उनके संरक्षण के उद्देश्य से आयोजित किया गया था। स्मारकों और स्थानों पर अंतर्राष्ट्रीय परिषद (ICOMOS) संगठन की स्थापना वेनिस चार्टर में निर्धारित सिद्धांतों पर की गई थी, जिसे स्मारकों और स्थानों के संरक्षण और बहाली को 1964 के अंतर्राष्ट्रीय चार्टर के रूप में भी जाना जाता है। विश्व विरासत दिवस 2023: थीम सांस्कृतिक विरासत के एक विशेष तत्व को उजागर करने के लिए हर साल विश्व विरासत दिवस के लिए एक थीम का चयन किया जाता है। इस वर्ष यह दिन "विरासत परिवर्तन" विषय पर मनाया जाएगा। यह क्रान्ति परिवर्तन को संदेश देने के महत्वपूर्ण विषय पर केंद्रित है और यह सांस्कृतिक विरासत से कैसे संबंधित है। हम भारत में विरासत दिवस कब मनाते हैं?हर साल विश्व धरोहर दिवस (World Heritage Day) 18 अप्रैल को मनाया जाता है। ये स्मारकों और स्थलों के लिए एक अंतर्राष्ट्रीय दिवस है। इस दिन विश्व में स्थित सभी सांस्कृतिक विरासतों की विविधता का जश्न मनाया जाता है। भारत का पहला विश्व धरोहर स्थल कौन सा है ?
भारत के उत्तर प्रदेश राज्य में स्थित आगरा किला भारत का पहला विश्व धरोहर स्थल है इसे वर्ष 1983 में भारत के पहले विश्व विरासत स्थल के रूप में शामिल किया गया।भारत का पहला विश्व धरोहर स्थल कौन सा है?
हम 18 अप्रैल को विश्व विरासत दिवस क्यों मनाते हैं?कैसे हुई इस दिन को मनाने की शुरुआत 18 अप्रैल 1982 में इंटरनेशनल काउंसिल ऑफ मॉन्यूमेंट्स एंड साइट के द्वारा पहला विश्व धरोहर दिवस ट्यूनीशिया में सेलिब्रेट किया गया था. इसके अगले साल 18 अप्रैल 1983 में यूनेस्को महासभा की ओर से इसे मान्यता दे दी गई. ताकि लोग अपनी सांस्कृतिक विरासत को लेकर जागरुक हो सकें वर्तमान में कुल कितने विश्व विरासत स्थल है
अब तक (जुलाई 2021 तक) पूरी दुनिया में लगभग 1154 स्थलों को विश्व विरासत स्थल घोषित किया जा चुका है जिसमें 897 सांस्कृतिक, 218 प्राकृतिक, 39 मिले-जुले और 138 अन्य स्थल हैं।
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